मौत का आंकड़ा चीन में लगातार बढ़ता जा रहा है. इस बीच कई भारतीय अब भी वुहान में फंसे हुए हैं. उन्हें वहां से वापस भारत लाने के लिए वायुसेना का एयरक्राफ्ट C-17 ग्लोबमास्टर को गुरुवार को वुहान जाना था. भारतीय वायुसेना के बेड़े में यह सबसे बड़ा मिलिट्री एयरक्राफ्ट है और यह भारी मात्रा में राहत सामग्री और दल को बुरे मौसम में कहीं भी ले कर जा सकता है.
क्या चीन भारत को इजाज़त नहीं दे रहा?
वायुसेना का यह एयरक्राफ्ट अब तक नहीं जा पाया है. ऐसे में प्रश्न ये उठने लगे हैं कि क्या चीन मंजूरी नहीं दे रहा है? समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार चीन ने शुक्रवार को इस बात से मना किया है कि वह भारत के एयरक्राफ्ट को वुहान में भीतर आने की अनुमति नहीं दे रहा है. चीन का बताना है कि दोनों देशों के संबंधित विभाग एक दूजे के कॉन्टैक्ट में हैं. जल्द ही एयरलिफ्ट और मेडिकल सामग्री भेजने के कार्यक्रम को आखिरी रूप दे दिया जाएगा.
बता दें कि चीन में भारतीय एंबेसी उन लोगों के कॉन्टैक्ट में है। फ़िलहाल अब भी चीन में काफी देशों के लोग अटके हुए हैं। हालांकि निरंतर कई देश अपने नागरिकों को वहां से एयरलिफ्ट कर वापस ला रहा है। अमेरिका ने भी चीन के वुहान शहर से अपने 300 नागरिकों को एयरलिफ्ट कर निकाल लिया है।
भारत ने 647 लोगों को पहले ही कर लिया है एयरलिफ्ट
विचारणीय है कि भारत पहले ही एयर इंडिया के दो विशेष विमान से वुहान में फंसे 647 भारतीयों को वापस ला चुका है. भारत आने के बाद उनमें से कुछ भारतीयों को कई दिनों तक अलग सैन्य अस्पताल में निरक्षण के लिए रखा गया था.


भारत ने अपने नागरिकों के अलावा 7 मालदीव के नागरिकों को भी अपने विमान से भारत लेकर आया था. उन्हें भी अस्पताल में निरीक्षण में रखने के बाद मालदीव भेज दिया गया.
चीन में कोरोना वायरस से डॉक्टर की मौत, 2236 तक पहुंचा आंकड़ा
वहा, चीन में शुक्रवार को 118 और लोगों की मौत हो गई. इसी तरह कोरोना से मरने वालों की तादाद 2236 तक आ पहुंची है. जबकि चीन में अब तक 75465 कोरोना के पक्के केस सामने आए हैं.
इस बीच खबर आ रही है कि चीन में कोरोना से एक 29 साल के डॉक्टर की जान चली गई है. बताया जा रहा है कि कोरोना प्रभावित लोगों के इलाज के लिए डॉक्टर ने अपनी शादी टाल दी थी. लेकिन कोरोना पीड़ितों के इलाज के दौरान प्रभाव से उसकी मौत हो गई. यहा पर ये स्वास्थ्यकर्मियों की नौवीं मौत है.